October 29, 2025

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कौशाम्बी07जनवरी2023*बिरौली गांव में पंचायत सचिव और ग्राम प्रधान सरकारी रकम में मचाए हुए हैं लूट*

कौशाम्बी07जनवरी2023*बिरौली गांव में पंचायत सचिव और ग्राम प्रधान सरकारी रकम में मचाए हुए हैं लूट*

कौशाम्बी07जनवरी2023*बिरौली गांव में पंचायत सचिव और ग्राम प्रधान सरकारी रकम में मचाए हुए हैं लूट*

*पंचायत के जिम्मेदारों के साथ खंड विकास अधिकारी और एडीओ पंचायत पर भी मुकदमा दर्ज करा कर गिरफ्तारी कराए जाने की है जरूरत*

*कौशाम्बी* मूरतगंज विकासखंड क्षेत्र के ग्राम पंचायतों में विकास कराए जाने के नाम पर सरकारी खजाना को खाली करने में ग्राम प्रधान वा पंचायत सचिव मिलकर बड़ी रकम निकाल रहे हैं लेकिन ग्राम पंचायतों में विकास के नाम पर हकीकत देखा जाए तो विकास कार्यों में बड़े घोटाले हुए है कार्यवाही ना होने से ग्राम प्रधान व पंचायत सचिव के हौसले बुलंद है तमाम ग्राम पंचायतों में जिम्मेदारों की उदासीनता से मचाई गई लूट के मामले में मूरतगंज विकासखंड क्षेत्र के बिरौली ग्राम पंचायत में और उसके मजरा जीत का पूरा में विकास कार्य को लेकर मोटी रकम खजाने से निकाली गई है लेकिन विकास कार्य एक तिहाई भी नहीं हुआ है

वित्तीय 2021 2022 में बिरौली ग्राम पंचायत में हैंडपंप मरम्मत हैंडपंप रिबोर सामग्री के नाम पर 08 लाख 11हजार 41 रुपए की भारी भरकम धनराशि फर्जी बिल के जरिए निकाल ली गई है लेकिन गांव में हैंडपंप ठीक नहीं हो सके नाली मरम्मत के नाम पर भी 1 लाख 17 हजार 232 रुपए निकाल लिया गया लेकिन अभी भी पूरे गांव में गंदगी व्याप्त है नाली का निर्माण मानक के अनुसार नहीं हो सका है पंचायत भवन में मरम्मत डेंटिंग पेंटिंग के नाम पर बिना कार्य कराए 3 लाख 43 हजार 404 रुपए की रकम निकाल ली गयी खुलेआम पंचायत के जिम्मेदार मनमानी पर उतारू है और आला अधिकारी मूकदर्शक बने हुए हैं बताया जाता है कि एडीओ पंचायत और खंड विकास अधिकारी ग्राम पंचायत के जिम्मेदारों से कमीशन खोरी कर धृतराष्ट्र बने हुए है

बिरौली ग्राम में टाइल्स कार्य में 1 लाख 12 हजार 169 रुपए निकाले जा चुके हैं लेकिन टाइल्स किस क्वालिटी की कहां लगाई गई है इसको बताने के लिए कोई जिम्मेदार तैयार नहीं है जीता का पुरवा में टाइल्स निर्माण के नाम पर रकम निकाली जा चुकी हैं लेकिन ग्रामीणों का कहना हैं कि टाइल्स क्या है हमे पता नहीं है बिना टाइल्स लगाए खजाने से रकम निकल गई और जिम्मेदारों को पता नहीं चल सका जिससे योगी सरकार में भ्रष्टाचार का अंदाजा लगाया जा सकता है

लगातार भ्रष्टाचार को अंजाम देने वाले ग्राम प्रधान और पंचायत सचिव पर कठोर कार्रवाई कर उनकी गिरफ्तारी कराए जाने में हीला हवाली करने वाले अधिकारियों के चलते ग्राम प्रधान और पंचायत सचिव के भ्रष्टाचार के हौसले कम नहीं हुए और लगातार एक के बाद एक भ्रष्टाचार की घटना को वह अंजाम देते रहे स्ट्रीट लाइट के नाम पर 1 लाख 64 हजार 9 सौ रुपए निकाले गए हैं लेकिन जीता का पूरा गांव में रोड़ के किनारे व पूरे गांव में आठ दस स्ट्रीट लाइट लगी होगी लेकिन उसके बाद भी प्रकरण की अभी तक जांच अधिकारियों ने नई शुरू कराई है बेखौफ तरीके से पंचायत के जिम्मेदार सरकारी खजाने को लूटने में लगे हैं और आला अधिकारी शिकायती पत्रों का इंतजार कर रहे हैं पीवी टाइल्स के नाम पर सरकारी खजाना को खाली करने में पंचायत के जिम्मेदार लगे हैं और ब्लॉक के जिम्मेदार आंख मूंदकर कमीशन खोरी में लिप्त है पीवी टाइल्स के नाम पर बिना कार्य कराए 1 लाख 82 हजार 580 रुपए निकाले जा चुके हैं देव स्थान पर सुन्दरीकरण के नाम पर 10 हजार 500 रुपए निकाले जा चुके हैं खाद गढ्ढा के लिए सरकारी खजाने से रकम तो निकाल ली गई लेकिन कोई कार्य नहीं हुआ विकास के नाम पर तमाम कार्यों की रकम निकाले जाने के बाद कई कार्य अभी भी गांव में अधूरे दिखाई पड़ रहे हैं जबकि कार्य पूर्ण होने की रिपोर्ट भेजी जा चुकी है इंटरलॉकिंग के नाम पर 1 लाख 60 हजार रूपए निकाले जा चुके हैं मिट्टी की भराई के नाम पर 1 लाख 3 हजार 882 रुपए निकाले जा चुके हैं गांव में व्याप्त भ्रष्टाचार में यह मामले तो कुछ उदाहरण मात्र है पूरे गांव में भ्रष्टाचार चरम पर व्याप्त है खंड विकास अधिकारी और एडीओ पंचायत केवल तमाशबीन बने हुए हैं ग्राम पंचायतों की जांच कराकर पंचायत के जिम्मेदारों के साथ-साथ खंड विकास अधिकारी और एडीओ पंचायत को भी कमीशन खोरी में हिस्सेदार मानते हुए इन पर भी मुकदमा दर्ज करा कर इनकी गिरफ्तारी कराए जाने की जरूरत है लेकिन क्या योगी सरकार में निष्पक्ष तरीके से जांच कराकर खंड विकास अधिकारी और एडीओ पंचायत पर मुकदमा दर्ज करा कर गिरफ्तारी कराई जाएगी या सब कुछ अंधेरगर्दी की तरह चलता रहेगा

Taza Khabar