October 18, 2024

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कौशाम्बी26फरवरी24*यूपीआजतक न्यूज चैनल पर कौशाम्बी की कुछ प्रमुख खबरें।

कौशाम्बी26फरवरी24*यूपीआजतक न्यूज चैनल पर कौशाम्बी की कुछ प्रमुख खबरें।

कौशाम्बी26फरवरी24*यूपीआजतक न्यूज चैनल पर कौशाम्बी की कुछ प्रमुख खबरें।

[26/02, 8:05 pm] +91 99191 96696: *अस्पताल संचालक ने दलित महिला से की छेड़खानी*

*तिल्हापुर मोड़ स्थित अरमान हॉस्पिटल का मामला एसपी से शिकायत के बाद जांच में जुटी पुलिस*

*कौशाम्बी।* पिपरी थाना क्षेत्र के तिल्हापुर मोड़ स्थित अरमान हॉस्पिटल के संचालक पर एक दलित महिला ने छेड़खानी का आरोप लगाया है थाना पुलिस से न्याय न मिलने पर महिला पुलिस अधीक्षक कार्यालय पहुंची है जिस पर पुलिस अधीक्षक ने प्रकरण में जांच कर कार्यवाही का निर्देश दिया है एसपी से शिकायत के बाद जांच में पुलिस जुटी है।

थाना चरवा की रहने वाली दलित महिला ने बताया कि उसका मायका पिपरी थाना क्षेत्र के पेरई गांव में है। दिनांक 21 फरवरी को मेरे भाई के यहां वैवाहिक समारोह था जिसके चलते मैं वहां गई हुई थी रात में लगभग 8:30 बजे मेरे भाई के लड़की की तबीयत खराब हो गई जिसके चलते मैं बच्ची को लेकर अरमान हॉस्पिटल तिल्हापुर मोड़ पुल के पास पहुंच गई। यहां पहुंचते ही मुझे बताया गया कि मेरी भतीजी की तबीयत ज्यादा खराब है जिसके चलते उसका ऑपरेशन किया जाना बहुत ही जरूरी है महिला के साथ गए देवर को बाहर ही रोक दिया गया और कहा गया कि सिर्फ एक महिला ही थिएटर में आ सकती है। जैसे ही थिएटर में नहिला पहुंची महिला का कहना है कि वैसे ही वहां पर मौजूद डॉक्टर निसार अहमद मेरी तरफ बुरी नीयत से बढ़ा और गलत जगह पर छूने लगा जब मैं इनका विरोध करने लगी तो यह ऑपरेशन करने वाली छूरी को मेरे गले पर रख दिया और गलत तरीके से मेरे शरीर को छूने लगा, जब मैने आवाज दिया तो देवर आ गया। इसके बाद उसने जब विरोध किया तब डॉक्टर ने जाति सूचक शब्द का प्रयोग करते हुए कहा कि मैं जितना कर लिया बहुत है, अब इस बात को कहीं मत कहना मेरी पहुंच तू नहीं जानती है मैं लाखों करोड़ों में खेलता हूं, यहां से शांति से चले जाओ नहीं तो कत्ल कर दूंगा फिर भी तुम्हारी रिपोर्ट तक नहीं लिखी जाएगी। डॉक्टर और उनके साथ अस्पताल के सात आठ अन्य लोगों ने महिला और देवर के साथ मारपीट की और जान से मारने की धमकी दी।

[26/02, 8:17 pm] +91 99562 82731: *जमीनी विवाद में घायल व्यक्ति की इलाज के दौरान मौत*

*नेवादा कौशाम्बी* पिपरी थाना क्षेत्र के ग्राम सभा रसूलपुर के मजरा पिपरहाई गांव मे जमीनी विवाद में शत्रुघ्न सिंह उर्फ गफूल पुत्र भंवर सिंह पर 25 फरवरी को प्राण घातक हमला किया गया जिन्हें इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया था लेकिन इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई है मौत होते ही परिवार में कोहराम मच गया है पुलिस ने मृतक के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है

घटनाक्रम के मुताबिक पिपरी थाना क्षेत्र के पिपरहाई गांव मे प्रमोद पांड़े पुत्र राम कुमार व शत्रुघ्न सिंह उर्फ गपूल सिंह पुत्र भंवर सिंह की सेवढ़ा रोड पर जमीन थी इसी जमीन को लेकर विवाद चल रहा था और इसी विवाद के चलते 25 फरवरी को शत्रुघ्न सिंह पर प्राण घातक हमला किया गया था जिससे उन्हें गंभीर चोट आई थी गंभीर हालत में उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था जहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई है वहीं शव घर पहुंचते ही परिजन शव को रखकर धरना प्रदर्शन शुरु कर शव दफनाने से इनकार कर दिया और मुआवजे की मांग करने लगे मौके पर एस डी एम चायल व सियो पहुंच कर मामले को शांत कराया मुआवजा देने का अश्वाशन दिया तब परिजन शव दफनाने को तैयार हुए

[26/02, 8:46 pm] Shashi Bhushan Singh Kaushambi: *अयोध्या प्रभु श्री राम के दर्शन के लिए बस द्वारा रवाना हुए हजारों लोग*

*कौशांबी* भगवान राम के दर्शन के लिए हजारों लोग बस के द्वारा अयोध्या के लिए रवाना हुए हैं 22 जनवरी 2024 को जब से भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा हुई उसके बाद देश के कोने कोने से लोगो को प्रभु श्री का दर्शन करवाने के लिए फ्री पास फ्री बस की सेवाएं सरकार के द्वारा प्रदान किया जा रहा है जिससे लोगो में भगवान राम के प्रति श्रद्धा भक्ति बढ़ती जा रही है सरकार के इस पहल को देखते हुए राम भक्तो में भारी उत्साह देखते को मिल रहा है लोगो में चर्चाएं सुनने को मिल रही है कि इस समय सरकार बहुत अच्छा कर रही है जिन लोगो को आज तक कभी अयोध्या जाने का नसीब नहीं हुआ है उनको भी भगवान राम का दर्शन करने का सौभाग्य प्राप्त हो रहा है कौशांबी के कुछ जाबाज सिपाहियो ने आज अयोध्या जी पहुंच कर भगवान राम का दर्शन बड़े हरसोल्लाश के साथ किया जिसमे पूर्व विधायक लाल बहादुर भाजपा जिला अध्यक्ष धरम राज मौर्या की अहम भूमिका रही एक दिन पहले सभी का मंडल वार पास जारी करके अयोध्या ले गए यात्रा के दौरान रास्ते में सभी को खाने पीने की व्यवस्था फ्री कर रखी थी जिसके कारण लोगो ने भारी संख्या में अयोध्या पहुंच कर भगवान राम का दर्शन किया इस दौरान जिला अध्यक्ष धरम राज मौर्या पूर्व विधायक लाल बहादुर आद्या प्रसाद पांडे भोले शंकर मौर्या अशीस केशरवनी राम बहादुर जैसवाल विवेक शुक्ला राम मिलन चौधरी उमेश केशरवानी दुर्गेश नंदन मिश्र गोलू गुप्ता कामता प्रसाद चौरसिया मुन्ने डॉक्टर संजीव कुमार चौरसिया राजेंद्र कुमार शुक्ला सहित हजारों लोगो ने भगवान राम का दर्शन किया

*शशिभूषण सिंह पत्रकार  जनपद कौशांबी 9648709715*
[26/02, 8:59 pm] +91 99562 82731: *पटाखा फैक्ट्री विस्फोट में मृत लोगो के परिजनों ने शव रखकर किया प्रदर्शन*

*5 लाख मुवावजे की मांग*

*कौशाम्बी* भरवारी में 25 फरवरी को पटाखा फैक्ट्री विस्फोट में मृत लोगो के परिजनों ने सोमवार को पोस्टमार्टम हाउस से वापस आने पर शव रखकर प्रदर्शन किया है,पीड़ित परिजनो के साथ ग्रामीण भी प्रदर्शन में शामिल रहे,मृतक के परिजन और ग्रामीणों ने 5 लाख मुवावजे की मांग की,जिसके बाद एसडीएम और एडीएम ने मान मनौव्वल किए जाने और आश्वासन देने के बाद शव को अंतिम संस्कार के लिए ले गए।

भरवारी कस्बे में पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट में मृत लोगो के परिजनों को सीएम योगी ने सीएम राहत कोष से मृतकों के परिजनों को 2-2 लाख मुआवजे का ऐलान किया है और घायलों को 50-50 हजार का मुआवजा देने का ऐलान किया है।जिसके बाद पीड़ितों के गांव अमहा पहुंचे एडीएम प्रबुद्ध सिंह,एसडीएम चायल सहित कानूनगो ,लेखपाल पहुंचे और मृतक के परिजनों को सहायता राशि देने के लिए कागजी कार्रवाई पूरी कर रहे है
इसके बावजूद आक्रोशित ग्रामीणों ने शव को रखकर प्रदर्शन किया और 5 लाख रुपए मुवावजा की मांग की,और प्रदर्शन किया।जिसके बाद एडीएम प्रबुद्ध सिंह सहित तमाम अधिकारियो के मनाने के बाद और पीएम राहत कोष से कुछ और आर्थिक सहायता दिलाने के आश्वासन पर ग्रामीण माने और शवों का अंतिम संस्कार कर दिया पोस्टमार्टम हाउस से मृतकों के शव वापस आने के बाद सुरक्षा व्यवस्था को लेकर भारी पुलिस फोर्स तैनात की गई थी जगह जगह पर पुलिस के जवान मौजूद रहे और गंगा नदी किनारे अंतिम संस्कार के समय भी भारी सुरक्षा व्यवस्था मौजूद रही

[26/02, 9:04 pm] +91 99191 96696: *श्रम विभाग में रजिस्ट्रेशन के बिना चल रही थी पटाखा फैक्ट्री श्रमिकों का रिकाॅर्ड भी कहीं नहीं*

*पटाखा फैक्ट्री पर पहले ही कार्यवाही कर दी जाती तो पटाखा फैक्ट्री में शायद विस्फोट नहीं होता*

*कौशाम्बी।* कोखराज थाना क्षेत्र के भरवारी कस्बे में पटाखा फैक्ट्री बिना श्रमिक रजिस्ट्रेशन के चल रही थी फैक्ट्री का श्रम विभाग के पास कोई रिकार्ड नहीं है। फैक्ट्री एक्ट के तहत भी फैक्ट्री संचालक ने कोई रजिस्ट्रेशन नहीं कराया है। श्रमिकों का भी कोई रिकार्ड नहीं है। श्रम विभाग ने कंपनसेशन एक्ट के तहत कार्रवाई नही किया है वहीं श्रम विभाग के सेफ्टी विंग ने भी मुख्यालय को फैक्ट्री संचालक पर कार्रवाई के लिए कोई पत्र नही लिख कर दिया है। श्रम विभाग के अधिकारियों से बातचीत में एक बात सामने आई है कि रविवार को जिस पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद लाशों के ढेर लग गए हैं यह पटाखा फैक्ट्री बिना रजिस्ट्रेशन के चल रही थी।

श्रम विभाग की लापरवाही इस कदर है कि नॉन प्रोडक्शन ऑफ रिकार्ड के तहत भी कार्रवाई नही की गई है श्रम विभाग अधिकारी ने पटाखा फैक्ट्री के मालिक पर न्यूनतम वेतनमान एक्ट, पेमेंट ऑफ वेतनमान, राष्ट्रीय त्योहार एक्ट, ग्रेच्युटी एक्ट, बोनस एक्ट समानता का अधिकार एक्ट, वेलफेयर फंड एक्ट और चाइल्ड लेबर एक्ट के तहत कार्रवाई नही की है बिना रजिस्ट्रेशन के चल रही पटाखा फैक्ट्री पर पहले ही कार्यवाही कर दी जाती तो पटाखा फैक्ट्री में शायद विस्फोट नहीं होता और भरवारी कस्बे में लाशों के ढेर नहीं लगते।

फैक्ट्री इलेक्ट्रिकल रजिस्ट्रेशन के संबंध में नितिन यादव असिस्टेंट फैक्ट्री डायरेक्टर से बात की गई तो उन्होंने साफ शब्दों में कहा है किया पटाखा फैक्ट्री रजिस्टर्ड नहीं थी वही श्रम अधिकारी महंत राम से बात की गई तो उनका कहना है कि उनके यहां भी श्रम विभाग में पटाखा फैक्ट्री का पंजीकरण नहीं था मामला फसता देख वह बार-बार यह कह रहे हैं की फैक्ट्री मैं काम करने वाले मजदूरों का रजिस्ट्रेशन श्रमिक एक्ट के श्रम विभाग में नहीं होता है पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद लाशों के ढेर लग जाने के बाद श्रम अधिकारी पूरी तरह से झूठ बोलकर शासन प्रशासन को गुमराह करने का प्रयास कर रहे हैं बिना रजिस्ट्रेशन के चल रही पटाखा फैक्ट्री के मामले में यदि शासन प्रशासन ने उच्च स्तरीय जांच कराई तो श्रमिक विभाग और फैक्ट्री विभाग के अधिकारियों पर कार्यवाही होना तय माना जा रहा है।

भरवारी कस्बे के पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद लाशों के ढेर लग जाने के बाद सरकारी व्यवस्था पर तमाम सवाल खड़े हो गए हैं हम लेबर कानून पर बात करने जा रहे है, जो की मजदूरों के लिए कानून है। अब आप समझेंगे कि लेबर कानून जो है, वो सिर्फ मज़दूरों के लिए होगा। लेकिन मैं आपको बता दूं कि यह लेबर कानून सभी लोगो पर लागू होता है, चाहे कोई किसी फैक्ट्री में काम कर रहा है या किसी कम्पनी में काम कर रहा है। कोई कहीं सेलरी पर काम कर रहा है, कोई कहीं मजदूरी पर काम कर रहा है, किसी भी प्रकार का कोई काम कर रहा है, उन सभी पर लेबर ला लागू होता है लेकिन श्रम अधिकारी इस बात को मानने के लिए तैयार नहीं है फ़ैक्टरी अधिनियम, 1948 में उल्लिखित कुछ स्वास्थ्य और सुरक्षा उपाय हैं। फ़ैक्टरियों के लिए इन प्रावधानों का अनुपालन करना और अपने श्रमिकों की भलाई सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक सावधानी बरतना महत्वपूर्ण है।

एक फ़ैक्टरी कर्मचारी फ़ैक्टरियों में विभिन्न कार्य करता है। फ़ैक्टरी कर्मचारी विभिन्न उत्पादों के निर्माण के लिए मशीनरी का संचालन कर सकते हैं। वे उत्पादों को क्रमबद्ध, जांच और पैक कर सकते हैं या उत्पाद असेंबली पर भी काम कर सकते हैं। आप यह पद औद्योगिक वातावरण में पा सकते हैं।इसमें शामिल हैं: काम के घंटे: वयस्क काम के घंटे विनियमों के अनुसार, वयस्क श्रमिक कारखाने में सप्ताह में 48 घंटे से अधिक काम नहीं कर सकते हैं । साप्ताहिक अवकाश होना चाहिए. स्वास्थ्य: श्रमिकों के स्वास्थ्य की रक्षा के लिए, फ़ैक्टरी अधिनियम 1948 के अनुसार सभी फ़ैक्टरियों को साफ़-सुथरा रखना और सभी आवश्यक सावधानियाँ बरतनी आवश्यक हैं.कारखाने में किसी भी व्यक्ति को इतना बोझ उठाने के लिये विवश नहीं किया जाएगा, जिससे उसे क्षति पहुँचने की संभावना हो। यदि कारखाने में कोई ऐसा कार्य हो रहा है जिससे श्रमिकों की आँखों को कोई खतरा है तो यह अनिवार्य है कि नियोक्ता इससे बचाव हेतु उचित उपकरणों (जैसे-गॉगल) की व्यवस्था करे।नियम 25 (ii) (v) (बी) के तहत सेवा की शर्तें। मुख्य श्रम आयुक्त का ध्यान रखना आवश्यक है। वेतन दरें, छुट्टियाँ, काम के घंटे और अन्य। समान रोजगार में सेवा प्राप्त करने की शर्तें। हमारे समक्ष वेतन भुगतान को लेकर कोई विवाद नहीं है उत्तर. बिजली की सहायता से 10 या अधिक श्रमिकों को रोजगार देने वाली “विनिर्माण प्रक्रिया” में लगे परिसर या बिजली की सहायता के बिना 20 या अधिक श्रमिकों को नियोजित करने वाला परिसर एक “कारखाना” बनेगा लेकिन पटाखा फैक्ट्री में कोई कानून नहीं लागू हुआ और विस्फोट होने के बाद लाश के देर लग गए।

[26/02, 9:17 pm] +91 99562 82731: *चौराडीह ग्राम पंचायत के विकास में बाधक बन रहे हैं प्रधान के विरोधी*

*सैय्यद सरावा कौशाम्बी* चायल तहसील क्षेत्र के ग्राम पंचायत चौराडीह में ग्राम के विकास में ग्राम प्रधान के विरोधी बाधक बन रहे हैं जिससे गांव क्षेत्र का विकास रुक रहा है बताया जाता है कि ग्राम प्रधान के विरोधियों की पकड़ पंचायत भवन से लेकर प्रशासनिक अधिकारियों तक है जिससे आए दिन झूठी शिकायत कर ग्राम प्रधान को परेशान किया जाता है उन्हें विकास कार्य नहीं करने दिया जा रहा है ग्राम पंचायत के विकास में लगे चौराडीह के ग्राम प्रधान कल्लू का कहना है कि उनकी झूठी शिकायतें कर उनके कार्यो की झूठे तरीके से जांच का दबाव बनाकर उनसे प्रधान की कुर्सी छीनने की साजिश रची जा रही है ग्राम प्रधान की झूठी शिकायत कर कुर्सी छीनने में एक पूर्व प्रधान की भी भूमिका सवालों के घेरे में है लेकिन ग्राम प्रधान ने कहा है कि विरोधियों की गलत मनसा सफल नहीं होने दिया जाएगा और अधिकारियों को हकीकत से अवगत कराया जाएगा झूठी शिकायत कर परेशान करने वाले लोगों को बेनकाब किया जाएगा जिससे गांव के विकास में बाधक बनने वाले लोगों के चेहरे आम जनता के सामने उजागर होंगे

[26/02, 9:31 pm] +91 99191 96696: *श्रम विभाग में बिना रजिस्ट्रेशन चल रही पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद लगा लाशों का ढेर*

*पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद मुख्यमंत्री ने टीम गठित कर 3 दिन में जांच पूरी कर रिपोर्ट देने का निर्देश दिया है*

*पटाखा फैक्ट्री पर पहले ही कार्यवाही कर दी जाती तो पटाखा फैक्ट्री में शायद विस्फोट नहीं होता*

*कौशाम्बी।* कोखराज थाना क्षेत्र के भरवारी कस्बे में रविवार को पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद चौकाने वाले मामले उजागर हो रहे हैं जिस पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद लाशों के ढेर लग गए हैं उस पटाखा फैक्ट्री का श्रम विभाग से रजिस्ट्रेशन ही नहीं था जबकि फैक्ट्री में तीन दर्जन से अधिक मजदूर काम कर रहे थे विस्फोट के बाद बड़ी जनहानि हुई है इंडस्ट्रियल विभाग से भी पटाखा फैक्ट्री का रजिस्ट्रेशन नहीं था लेकिन फिर भी कई वर्षों से पटाखा फैक्ट्री बिना रजिस्ट्रेशन के चल रही थी आखिर बिना रजिस्ट्रेशन के चलने वाली पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद किस-किस की जवाब देही तय होगी समय रहते विभागीय अधिकारियों ने पटाखा फैक्ट्री की जांच कर उसे नियम कानून का पाठ पढ़ाया होता तो शायद पटाखा फैक्ट्री का संचालन बंद हो जाता और विस्फोट की इतनी बड़ी घटना होने से बच जाती लेकिन श्रम विभाग के अधिकारियों ने पटाखा फैक्ट्री की जांच कर उसे बंद करने का प्रयास नहीं किया और बिना रजिस्ट्रेशन के चल रही पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद अपने को बचाने के लिए तरह-तरह के हथकंडे विभागीय अधिकारियों ने अपनाना शुरू कर दिया है बिना श्रमिक रजिस्ट्रेशन के चल रही पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद श्रम विभाग के पास श्रमिको का कोई रिकार्ड नहीं है पटाखा फैक्ट्री में कितने मजदूर काम कर रहे थे विभाग के अधिकारी जवाब देने को तैयार नहीं है फैक्ट्री एक्ट के तहत भी फैक्ट्री संचालक ने कोई रजिस्ट्रेशन नहीं कराया है। सुरक्षा के भी व्यापक इंतजाम नहीं थे जिसका खामियाजा श्रमिकों को अपनी जान देकर कीमत चुकानी पड़ी है घटना को 36 घंटे बीत जाने के बाद श्रम विभाग के पास पटाखा फैक्ट्री में काम करने वाले श्रमिकों का भी कोई रिकार्ड नहीं है।

बिना रजिस्ट्रेशन के चल रही पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के पहले श्रम विभाग ने कंपनसेशन एक्ट के तहत कार्रवाई नही किया है कोखराज थाना क्षेत्र के भरवारी कस्बे की पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद लाशों के ढेर लग जाने के बाद सरकारी व्यवस्था पर बड़े सवाल खड़े हो गए हैं आखिर फैक्ट्री नियम विरुद्ध तरीके से कैसे चल रही थी प्रशासनिक अधिकारियों ने नियम विरुद्ध चलने वाली पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के पहले क्यों करवाई नहीं की है सूबे के मुख्यमंत्री ने इस प्रकरण को गंभीरता से लिया तो कई अधिकारियों की लापरवाही उजागर होना तय है पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट के बाद मुख्यमंत्री ने टीम गठित कर 3 दिन में जांच पूरी कर रिपोर्ट देने का निर्देश दिया है।

[26/02, 9:35 pm] +91 96485 18828: *तहसील परिसर में तमंचा लेकर अधिवक्ता को दौड़ाया*

*चायल कौशाम्बी* पिपरी थाना क्षेत्र के हाजीपुर नूरपुर गांव निवासी मानसिंह यादव पुत्र बच्चा लाल सिंह तहसील चायल में अधिवक्ता है। सोमवार को वह तहसील के कार्यों में लगे थे इसी बीच उनके विरोधी तहसील पहुंच गए और तमंचा लेकर तहसील परिसर में अधिवक्ता मंजीत सिंह यादव को दौड़ा लिया मनजीत सिंह यादव जान बचाकर भागे तहसील परिसर में अधिवक्ता को तमंचा लेकर दौड़ाए जाने के बाद तहसील में अफरा तफरी मच गई इस बात की जानकारी जैसे ही अन्य अधिवक्ता साथियों को लगी अधिवक्ताओं ने विरोध किया जिस पर हमलावर भाग निकले बताया जाता है कि 25 जनवरी को भी अधिवक्ता के गांव में विरोधियों ने अधिवक्ता के मकान का दीवार तोड़ दिया नया निर्माण कर रहे थे जिस पर अधिवक्ता ने विरोध किया तो उनके विरोधियों ने लाठी डंडा कुल्हाड़ी फावड़ा लेकर अधिवक्ता को जान से मारने के लिए दौड़ा लिया था अधिवक्ता जान बचाकर घर के भीतर घुस गए थे जिस पर उनकी जान बच सकी है अधिवक्ता पर हमले किए जाने के पीछे जमीनी विवाद बताया जाता है मामले की सूचना अधिवक्ता ने क्षेत्र अधिकारी चायल को देकर हमलावरो पर कार्यवाही की मांग की है।

[26/02, 9:36 pm] +91 99569 34903: *आपरेशन से प्रसव के बाद जच्चा और बच्चा की मौत*

सरायअकिल के करन चौराहा स्थित संजीवनी अस्पताल में रविवार को दिन में आपरेशन से हुए प्रसव के बाद युसुफपुर गांव के जच्चा और बच्चा की मौत हो गई। जच्चा-बच्चा की मौत होने से परिजनों में शोक की लहर है। फिलहाल परिजनों ने अभी तक किसी तरह का आरोप नहीं लगाया है।

युसुफपुर (इसीपुर )गांव का शिवप्रसाद राजकोट शहर में रहकर प्राइवेट काम करता है।उसकी पत्नी गुड्डी देवी (28) गर्भवती थी। रविवार को प्रसव पीड़ा होने पर परिवार व एक आशा ने उसे करन चौराहे के संजीवनी अस्पताल में ले जाकर भर्ती कराया। आरोप है कि वहां डाक्टरों ने आपरेशन करने की एवज में घरवालों से 18 हजार जमा कराया और गुड्डी का आपरेशन कर प्रसव कराने के बाद बताया कि बच्चा मृत पैदा हुआ है। इसके बाद अस्पताल के डाक्टरों ने गुड्डी को खून की कमी बताकर तीन यूनिट खून का इंतजाम करने की बात कही। परिजनों ने किसी तरह से खून की व्यवस्था कर डाक्टरों को लाकर दिया। जैसे ही डाक्टरों ने गुड्डी को खून चढ़ाना शुरू किया,हालत बिगड़ने लगी और उसकी मौत हो गई। आरोप है कि जच्चा-बच्चा की मौत होने पर किरकिरी से बचने के लिए आनन फानन अस्पताल वालों ने शव को परिजनों के सुपुर्द कर अस्पताल से भगा दिया।घरवाले शव को घर पर रखकर महिला के पति के घर लौटने का इंतजार कर रहे हैं, उन्होंने -बच्चा का अंतिम संस्कार कर दिया लेकिन जच्चा का अंतिम संस्कार नहीं किया है मामले में पीएचसी नेवादा के चिकित्साधिकारी डा मुक्तेश द्विवेदी का कहना है कि मामला संज्ञान में आया है, घरवालों से किसी तरह की फिलहाल शिकायत नहीं मिली है। यदि शिकायत मिलती है नियमानुसार जांच कर अस्पताल के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

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