लखनऊ30अगस्त25*यूपीआजतक न्यूज़ चैनल पर लखनऊ की कुछ खास खबरें
*थारू जनजाति के सशक्तिकरण पर योगी सरकार का फोकस*
*371 समूह गठित, हर समूह को 30 हजार रिवॉल्विंग फंड और 1.5 लाख सीआईएफ*
*लखीमपुर खीरी में थारू हस्तशिल्प कंपनी का गठन, शिल्पकारों की आजीविका में सतत सुधार*
*प्रदेश सरकार ने थारू जनजाति की आर्थिक और सामाजिक प्रगति के लिए चलाए विशेष कार्यक्रम*
*लखीमपुर खीरी के पलिया ब्लॉक में थारू हस्तशिल्प कंपनी से कारीगरों को मिला नया मंच*
*लखनऊ, 30 अगस्त।* मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश सरकार राज्य की थारू जनजाति के सशक्तिकरण और उनकी आजीविका सुधार के लिए ठोस कदम उठा रही है। सरकार का फोकस यह सुनिश्चित करना है कि वनवासी और विशेष जनजातियां मुख्यधारा से जुड़कर न केवल सामाजिक रूप से सशक्त हों बल्कि आर्थिक रूप से भी आत्मनिर्भर बन सकें। इसी दिशा में प्रदेश के तीन जनपदों में थारू जनजाति के कुल 371 समूह गठित किए गए हैं। यही नहीं, प्रदेश सरकार ने इन समूहों को वित्तीय सहायता प्रदान करने के लिए विशेष योजना बनाई है। प्रत्येक समूह को 30 हजार रुपए का रिवॉल्विंग फंड और 1.5 लाख रुपए का कम्युनिटी इंवेस्टमेंट फंड (सीआईएफ) दिया गया है। इस वित्तीय सहयोग से समूहों को आत्मनिर्भर बनाने, छोटे उद्योगों की शुरुआत करने और आजीविका सुधार के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है।
*लखीमपुर खीरी में थारू हस्तशिल्प कंपनी*
थारू समुदाय की पारंपरिक कला और हस्तशिल्प को राष्ट्रीय एवं वैश्विक मंच देने के लिए लखीमपुर खीरी के पलिया ब्लॉक में थारू हस्तशिल्प कंपनी की स्थापना की गई है। यह कंपनी FDRVC (Forest and Development Related Value Chain) के सहयोग से स्थापित हुई है। इसका उद्देश्य थारू शिल्पकारों की पारंपरिक कला को संगठित करना, उन्हें बेहतर बाजार उपलब्ध कराना और उत्पादों को ब्रांडिंग व मार्केटिंग के जरिए राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर तक पहुंचाना है।
*आजीविका सुधार और आत्मनिर्भरता की दिशा में बड़ा कदम*
सरकार का मानना है कि थारू समुदाय के पास प्राकृतिक संसाधनों और हस्तशिल्प की गहरी परंपरा है। इनकी कला और उत्पाद बाजार में उच्च मांग रखते हैं। लेकिन अब तक यह समुदाय संगठित नहीं था, जिस कारण इन्हें उचित मूल्य और मंच नहीं मिल पाता था। नई पहल से न केवल स्थानीय शिल्पकारों को रोजगार के अवसर मिलेंगे बल्कि उनकी आय में भी सतत वृद्धि होगी।
*मुख्यमंत्री योगी का विजन*
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ लगातार यह कहते आए हैं कि सरकार का उद्देश्य समाज के हर वर्ग को मुख्यधारा से जोड़ना है। चाहे वह वनवासी हों, वंचित वर्ग हो या विशेष जनजातियां, सभी को शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार और आजीविका से जोड़कर आत्मनिर्भर बनाना राज्य सरकार की प्राथमिकता है। थारू जनजाति के लिए उठाए गए ये कदम इसी व्यापक सोच का हिस्सा हैं। सरकार का कहना है कि यह प्रयास थारू जनजाति के लिए एक मॉडल के रूप में विकसित किया जाएगा। आगे चलकर अन्य विशेष जनजातियों और वनवासी समुदायों को भी इसी पैटर्न पर सशक्त बनाने की योजना है।
Keywords:
Tharu Tribe Empowerment, CM Yogi Adityanath, Tharu Handicraft Company, Lakhimpur Kheri, Palia Block, Revolving Fund, CIF Support, FDRVC, Tribal Livelihood, Handicraft Promotion, Women Empowerment, UP Government Tribal Policy, Sustainable Development, Rural Economy, Self-Help Groups.
Hashtags:
#TharuTribe #YogiAdityanath #UPGovernment #TribalEmpowerment #Handicrafts #LakhimpurKheri #SustainableLivelihood #WomenEmpowerment #RuralEconomy #UPDevelopment
[30/08, 2:19 pm] Shobhit Shukla Barabanki: *सांस्कृतिक रंगों से सराबोर होगा यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो 2025*
*सिर्फ व्यापार ही नहीं, कला-संस्कृति का भी संगम बनने जा रहा है यूपीआईटीएस*
*रंगारंग प्रस्तुतियों से सराबोर होगी इस मेगा आयोजन की हर शाम*
*भोजपुरी, अवधी, बुंदेली और थारू जैसी लोक परंपराओं का होगा प्रदर्शन*
*सूफी गायन, कथक नृत्य और सुगम संगीत तक का देखने को मिलेगा संगम*
*‘निरहुआ’से लेकर पद्मश्री मालिनी अवस्थी देंगी अपनी-अपनी प्रस्तुतियां*
*देश और प्रदेश की चर्चित हस्तियां इस आयोजन को बनाएंगी यादगार*
*लखनऊ, 30 अगस्त।* मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की पहल पर उत्तर प्रदेश की सांस्कृतिक पहचान को वैश्विक मंच देने के लिए इंटरनेशनल ट्रेड शो-2025 सिर्फ व्यापार का नहीं बल्कि कला-संस्कृति का भी संगम बनने जा रहा है। ग्रेटर नोएडा के इंडिया एक्सपो मार्ट में 25 सितंबर से 29 सितंबर तक आयोजित होने वाले इस मेगा आयोजन की हर शाम रंगारंग प्रस्तुतियों से सराबोर होगी, जिसमें भोजपुरी, अवधी, बुंदेली और थारू जैसी लोक परंपराओं से लेकर सूफी गायन, कथक नृत्य और सुगम संगीत तक का संगम देखने को मिलेगा। शो में देश और प्रदेश के दिग्गज कलाकार अपनी प्रस्तुतियां देंगे। भोजपुरी सुपरस्टार दिनेश लाल यादव ‘निरहुआ’, पद्मश्री मालिनी अवस्थी, सूफी गायिका प्रतिभा सिंह बघेल, कथक नृत्यांगना अनुराधा शर्मा, तथा बैंड प्रस्तुति देने वाली संस्कृति गाथा ग्रुप जैसी हस्तियां इस आयोजन को यादगार बनाएंगी।
*पहला दिन: भोजपुरी और कथक का संगम*
25 सितंबर की शाम का आरंभ भोजपुरी सुपरस्टार दिनेश लाल यादव ‘निरहुआ’ की गायकी से होगा, जो अपने लोकगीतों से दर्शकों का दिल जीतेंगे। इसी दिन वाराणसी की सोनी सेठ “राम रामेति रामायाः” शीर्षक कथक नृत्य नाटिका प्रस्तुत करेंगी। इसके साथ ही संस्कृति गाथा गर्ल्स बैण्ड की मोहिनी, सोनल और अनन्या लोकधुनों की मधुरता बिखेरेंगी, जबकि मेरठ के पवन धानक अपनी शहनाई की धुन से वातावरण को मंत्रमुग्ध कर देंगे।
*दूसरा दिन: सूफी और रसिया की जुगलबंदी*
26 सितंबर को मंच होगा सूफी और ब्रज संस्कृति के नाम। रीवा की गायिका प्रतिभा सिंह बघेल अपने सूफी गायन से समां बांधेंगी, वहीं मथुरा के मुरारी लाल शर्मा चरकुला नृत्य के जरिए ब्रज की अनूठी परंपरा दिखाएंगे। गजेन्द्र सिंह रसिया गायन से श्रोताओं को बांधेंगे और नोएडा की नीलाक्षी राय सूफी नृत्य नाटिका प्रस्तुत करेंगी।
*तीसरा दिन: अवधी लोकगायन और थारू नृत्य का आकर्षण*
27 सितंबर की शाम लखनऊ की पद्मश्री मालिनी अवस्थी के अवधी लोकगायन से सराबोर होगी। साथ ही महाराजगंज के अमित अंजन लोकगायन प्रस्तुत करेंगे। अयोध्या की संगम लता बधावा नृत्य से दर्शकों को लुभाएंगी, जबकि पीलीभीत की रिंकू देवी थारू नृत्य के जरिए आदिवासी परंपरा का जादू बिखेरेंगी।
*चौथा दिन: बुंदेली और राई-सैरा की झलक*
28 सितंबर को मंच पर आएंगे बुंदेलखंड और उसकी सांस्कृतिक धरोहर। बस्ती के ब्रजेश साण्डिल्य भजन गायन से भक्तिभाव का माहौल बनाएंगे। अंबेडकर नगर की मानसी सिंह रघुवंशी लोकगायन करेंगी। ललितपुर के जितेन्द्र कुमार बुंदेली गायन से मन मोह लेंगे और मोहिनी राई-सैरा लोकनृत्य प्रस्तुत करेंगी।
*पांचवा दिन: सुगम संगीत और कबीर गायन का समापन*
29 सितंबर की अंतिम शाम को आधुनिक और आध्यात्मिक संगीत का संगम देखने को मिलेगा। लखनऊ की लोकप्रिय जोड़ी सचेत-परम्परा सुगम संगीत से समां बांधेंगे। सोनभद्र के संतोष मादल सिंहा नृत्य से लोकजीवन की ऊर्जा दिखाएंगे। प्रयागराज के जलज श्रीवास्तव कबीर गायन से संत परंपरा को जीवंत करेंगे और नोएडा की अनुराधा शर्मा कथक नृत्य से कार्यक्रम का भव्य समापन करेंगी।
*सांस्कृतिक महाकुंभ का संदेश*
योगी सरकार ने इंटरनेशनल ट्रेड शो को सिर्फ व्यापारिक आदान-प्रदान का मंच ही नहीं, बल्कि उत्तर प्रदेश की समृद्ध लोककलाओं और सांस्कृतिक धरोहर को प्रस्तुत करने का भी अवसर बनाया है। यह आयोजन उत्तर प्रदेश की सांस्कृतिक विविधता को दुनिया के सामने पेश करेगा। पांच दिनों का यह कार्यक्रम राज्य की सांस्कृतिक समृद्धि का जीवंत दस्तावेज होगा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का मानना है कि व्यापार और संस्कृति एक-दूसरे के पूरक हैं। योगी सरकार ने इस बार इंटरनेशनल ट्रेड शो को एक ऐसा मंच बनाने का प्रयास किया है, जहां उद्यमिता और निवेश के साथ-साथ उत्तर प्रदेश की समृद्ध कला और संस्कृति का भी प्रचार-प्रसार हो। थारू, बुंदेली, अवधी और भोजपुरी लोकधरोहरों की झलक दुनिया के सामने पेश होगी, जिससे न सिर्फ कलाकारों को प्रोत्साहन मिलेगा, बल्कि प्रदेश की सांस्कृतिक पहचान भी मजबूत होगी।
Keywords:
UP International Trade Show 2025, Cultural Evenings, Dinesh Lal Yadav Nirahua, Malini Awasthi, Sachet Parampara, Tharu Dance, Bundeli Folk Songs, Kathak Dance, Sufi Singing, Bhojpuri Folk Music, UP Culture, Indian Handicrafts, Folk Heritage, Uttar Pradesh Tourism.
Hashtags:
#UPITS2025 #CulturalEvenings #UPCulture #YogiAdityanath #Nirahua #MaliniAwasthi #SachetParampara #TharuDance #BundeliSongs #KathakDance #SufiMusic #BhojpuriSongs
[30/08, 2:19 pm] Shobhit Shukla Barabanki: *प्रदेश को 4 नए आटोमेटिक टेस्ट स्टेशन की सौगात*
*प्रदेश में कुल एटीएस की कुल संख्या हुई 14 ,वाहनों की सुरक्षा और प्रदूषण मानकों की होगी जांच*
*ऑटोमेटिक टेस्ट स्टेशन (एटीएस) के जरिये और पारदर्शी होगी प्रक्रिया*
*लखनऊ, आगरा, कानपुर नगर व मीरजापुर में नए एटीएस*
*योगी सरकार द्वारा किया जा रहा एटीएस का विस्तार*
*लखनऊ, 30 अगस्तः* योगी सरकार द्वारा सड़क सुरक्षा, पारदर्शिता और प्रदूषण नियंत्रण को सुदृढ़ बनाने के उद्देश्य से स्वचालित परीक्षण स्टेशन (Automatic Testing Stations—ATS) नेटवर्क का त्वरित विस्तार किया जा रहा है। निर्धारित प्रक्रिया और मानक संचालन प्रक्रिया (SOP) के अनुरूप 04 नए एटीएस को Final Registration Certificate (RC) निर्गत किए गए, जिससे प्रदेश में कार्यरत एटीएस की कुल संख्या 14 हो गई है। वर्तमान चरण में RC निर्गमन का यह सिलसिला जनवरी 2025 से चरणबद्ध रूप से चल रहा है। नियमानुसार समस्त आरसी रजिस्ट्रीकरण प्राधिकारी/परिवहन आयुक्त द्वारा ही निर्गत किए गए हैं।
*आरसी प्राप्त 04 नए एटीएस (RC दिनांक 26-08-2025), प्रदेश में संख्या हुई 14*
1. AKRS ATS Private Limited, लखनऊ
2. Sharp-N-India (Consortium) with Triplea Tech Integrator, आगरा
3. M/s Air Sales Corporation, कानपुर नगर
4. M/s Mamta Hygiene Products Pvt. Ltd., मीरजापुर
इन नई स्वीकृतियों के साथ प्रदेश में अब फिरोजाबाद, बिजनौर, झांसी, मुरादाबाद, कानपुर देहात, वाराणसी, बरेली, मुरादाबाद (द्वितीय), फतेहपुर, रामपुर, लखनऊ, आगरा, कानपुर नगर और मीरजापुर में कुल 14 एटीएस कार्यरत हैं।
*नीति/प्रक्रिया सम्बंधी प्रमुख बिंदु (SOP के अनुरूप)*
*जनपद-वार सीमा:* किसी भी जनपद में अधिकतम 03 ATS स्थापित किए जा सकते हैं। First Come, First Serve के सिद्धांत पर पात्र आवेदनों को प्राथमिकता दी जाती है।
*आवेदक-वार सीमा:* एक ही आवेदक/संस्था को एक जनपद में एक तथा पूरे प्रदेश में अधिकतम 03 एटीएस अनुमन्य हैं।
*भूमि/इन्फ्रास्ट्रक्चर मानक:* न्यूनतम 2 एकड़ भूमि (प्रारंभिक 2-लेन हेतु); अतिरिक्त प्रत्येक टेस्ट-लेन पर 0.5 एकड़ अतिरिक्त भूमि। कम-से-कम 02 लेन—एक हल्के (LMV/दोपहिया) और एक मध्यम/भारी (MMV/HMV) वाहनों के लिए।
*वित्तीय/दस्तावेजी शर्तें:* 50,000 रुपये ऑनलाइन आवेदन शुल्क। 5,00,000 रुपये की बैंक गारंटी (वैधता 10 वर्ष 6 माह), वैध भूमि/लीज़ दस्तावेज, अग्निशमन (NOC), श्रम विभाग प्रमाणपत्र, आवश्यक कंपनी/एफ़िडेविट/डिक्लेरेशन इत्यादि।
*ऑडिट व इंटीग्रेशन:* Pre-Commissioning Audit/Assessment सफलतापूर्वक पूरा करना अनिवार्य, CCTV-सक्षम, डेटा-लॉग्ड परीक्षण, AFMS–VAHAN–eChallan आदि डिजिटल प्रणालियों से इंटीग्रेशन का सत्यापन होने के बाद ही Final RC निर्गत की जाती है।
*पोर्टल व्यवस्था:* सभी आवेदन NSWS पोर्टल के माध्यम से दस्तावेजों का ऑनलाइन अपलोड और बाद में मूल प्रतियों का सत्यापन।
*जनहित में एटीएस के लाभ*
एटीएस के माध्यम से वाहन-फिटनेस परीक्षण पूरी तरह स्वचालित, कैमरा-सक्षम, एल्गोरिदम-आधारित और डेटा-लॉग्ड होता है। इससे मानवीय त्रुटि एवं विवेकाधीनता कम होती है और पारदर्शिता और विश्वसनीयता बढ़ती है। रोड सेफ़्टी और प्रदूषण नियंत्रण लक्ष्यों की प्राप्ति तेज़ होती है। डिजिटल रिपोर्टिंग, टाइम-स्लॉटिंग, ऑनलाइन भुगतान/रसीद तथा AFMS–VAHAN–eChallan जैसे एकीकरण से नागरिकों को तेज़, सरल और भरोसेमंद सेवा मिलती है तथा राज्य को बेहतर अनुपालन, डेटा-आधारित निगरानी व परिणाम मिलते हैं।
*वर्जन*
एटीएस नेटवर्क का विस्तार उत्तर प्रदेश की रोड सेफ़्टी को प्राथमिकता देने की ठोस प्रतिबद्धता का प्रतीक है। 4 नए एटीएस को अंतिम पंजीकरण प्रमाण-पत्र जारी होने के साथ प्रदेश में कुल 14 एटीएस कार्यरत हैं। स्वचालित, मानकीकृत और कैमरा-आधारित फिटनेस परीक्षण से नागरिकों को पारदर्शी सेवा और राज्य को विश्वसनीय डेटा मिलेगा। हमारा लक्ष्य है कि SOP के अक्षरशः पालन के साथ एटीएस कवरेज का त्वरित विस्तार किया जाए, ताकि हर फिट वाहन सुरक्षित सड़कों का आधार बनें। परिवहन विभाग एटीएस व्यवस्था को प्रक्रिया-सम्मत, समयबद्ध और जनहित-केंद्रित रखते हुए निरंतर विस्तार कर रहा है। सभी नागरिकों और उद्योग जगत से अपेक्षा है कि वे ज़िम्मेदार और सुरक्षित परिवहन के लिए एटीएस-आधारित फिटनेस प्रणाली का सहयोग करें।
*ब्रजेश नारायण सिंह,*
*परिवहन आयुक्त, उत्तर प्रदेश*
*हिंदी कीवर्ड*
योगी सरकार
उत्तर प्रदेश परिवहन विभाग
ऑटोमेटिक टेस्टिंग स्टेशन (एटीएस)
*हैशटैग*
#Yogi Government
#Uttar Pradesh Transport Department
#Automatic Testing Stations (ATS)
More Stories
लखनऊ30अगस्त25*अगरबत्ती बेचने वाले निकले चैन स्नैचर*खर्च बढ़ने की वजह से चैन स्नैचिंग की घटना को अंजाम दिया था
लखनऊ30अगस्त25*यूपीआजतक न्यूज़ चैनल पर रात 10 बजे की बड़ी खबरें……………….*
कानपुर नगर30अगस्त25*06 पुलिसकर्मी (04 निरीक्षक एवं 02 उप निरीक्षक) को तत्काल प्रभाव से निलंबित किया गया है।