भागलपुर04अगस्त23*भागलपुर में दिखी पुलिस की बर्बरता : अनशन पर बैठे BJP नेता रोहित पांडेय को घसीटकर साथ ले गई पुलिस, कार्यकर्ताओं पर बरसाई लाठियां, पत्रकारों की भी की पिटाई
भागलपुर बिहार से शैलेन्द्र कुमार गुप्ता यूपीआजतक
भागलपुर : पुलिस का बर्बर चेहरा एक बार फिर सामने आया है। भागलपुर के परबत्ती काली मंदिर पर पथराव करने वाले उपद्रवियों की गिरफ्तारी की मांग को लेकर भागलपुर शहर के कचहरी चौक पर आमरन अनशन पर बैठे भाजपा नेता व पूर्व जिलाध्यक्ष रोहित पांडेय को पुलिस जबरन उठाकर अपने साथ ले गई। गुरुवार देर रात करीब 10.45 बजे दंगा नियंत्रण बल के साथ धरना स्थल पर पहुंचे पुलिस इंस्पेक्टर एसके सुधांशु ने पूर्व जिलाध्यक्ष रोहित पांडे से कहा कि आपको मेडिकल जांच की जरूरत है। आपको हमारे साथ जवाहर लाल नेहरू अस्पताल चलना होगा। इंस्पेक्टर के इस प्रस्ताव पर रोहित ने कहा कि मुझे कहीं नहीं चलना है, मेरी स्थिति बेहतर है। मुझे कोई शारीरिक कष्ट नहीं है। उन्होंने पुलिस अधिकारी से कहा कि जबतक आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं हो जाती, वे यहां से हटने वाले नहीं हैं।वीडियो बना रहे युवकों पर जवानों ने बरसाये डंडे
भाजपा नेता का इतना बोलते ही दंगा नियंत्रण बल के जवानों ने उन्हें जबरन अनशन स्थल से उठाकर पुलिस वैन में भर लिया। इसके बाद कुछ जवान भी वैन में बैठ गए। इस दौरान फोटो और वीडियो बना रहे कुछ पत्रकारों और युवकों पर भी जवानों ने डंडे बरसाये। साथ ही दो अन्य लोगों को अपने कब्जे में लेकर वैन में बैठाने का प्रयास किया। लेकिन सादे लिबास में मौजूद इंस्पेक्टर एसके सुधांशु ने बीच-बचाव कर उन्हें मुक्त करा दिया।मेडिकल जांच कराने की बात कह ले गई जोगसर थाना
अनशन स्थल पर गुरुवार देर रात पहुंची पुलिस टीम रोहित पांडेय को उनके खराब स्वास्थ्य का हवाला देकर जांच के लिए जवाहर लाल नेहरू अस्पताल ले जाने के लिए बल प्रयोग किया। इसके बाद उन्हें अपने साथ जोगसर थाने लेकर चली गई। ऐसा माना जा रहा है कि पुलिस टीम को इस बात का अंदेशा था कि अनशन स्थल से भाजपा नेता को उठा कर ले जाने के बाद कार्यकर्ताओं की प्रतिक्रिया सामने आ सकती थी। इसी अंदेशे को देखते हुए जवाहर लाल नेहरू अस्पताल ले जाने के बजाय जोगसर थाने ले गई। थाने ले जाने के चंद मिनटों बाद रोहित पांडेय को लोकनायक जयप्रकाश सदर अस्पताल में भर्ती करा दिया है। वहां सुरक्षा का भारी इंतजाम किए गए हैं।
क्या बोले भाजपा कार्यकर्ता
अनशन स्थल पर मौजूद संगठन से जुड़े नेताओं, कार्यकर्ताओं का कहना था कि पुलिस अधिकारी और बलों की मंशा अनशन जबरन समाप्त कराने की थी। दिन के उजाले में वह साहस नहीं जुटा सकी, तो रात के अंधेरे में रोहित को जबरन अपने साथ ले गई। भाजपा कार्यकर्ताओं ने कहा कि शुक्रवार को भारी संख्या में कार्यकर्ता पुलिस की दमनकारी कृत्य के खिलाफ आंदोलन का विगुल फूंकेंगे। मंदिर पर पथराव करने वाले नामजद आरोपियों की गिरफ्तारी होने तक आंदोलन जारी रखने की बात भी कार्यकर्ताओं ने कही है।
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