कौशांबी17दिसम्बर24*ना टोटी ना पानी बंद सामुदायिक शौचालय में हो गया एक महीने में सवा लाख का भुगतान*
*विकास योजनाओं की गजब की मॉनिटरिंग करते हैं विकास भवन के जिम्मेदार अफसर*
*कोखराज कौशाम्बी* विकास योजनाओं के नाम पर जमकर लूट मची है आखिर किसके कमीशन खोरी के चलते बिकास योजनाओं से जुड़े लोग मनमानी पर उतारू है उन अफसर को चिन्हित कर उन्हें दंडित किए जाने की जरूरत है लेकिन विकास योजना में मनमानी तरीके से लूट के बाद भी जिम्मेदार अधिकारियों को चिन्हित कर उन पर कार्यवाही होती नहीं दिख रही है गांव-गांव में फर्जी बिल वाउचर लगाकर लाखों का भुगतान रोज कराए जा रहे हैं लेकिन विकास भवन के अधिकारी धांधली की बात सुनने को तैयार नहीं है ताजा मामला सिराथू विकासखंड क्षेत्र के कासिया पश्चिम ग्राम पंचायत का है जहां सार्वजनिक शौचालय में बीते कई महीनो से ताला बंद है सामुदायिक शौचालय में ताला लटक रहा है और इसमें ना तो टोटी है ना पानी की व्यवस्था है जिससे जरूरत पड़ने पर सामुदायिक शौचालय का उपयोग लोग नहीं कर पाते हैं और खुले में मलमूत्र का त्याग करते हैं
गौरतलब है कि कशिया पश्चिम गांव में जून 2024 के महीने में तीन किस्तों में 18000 रुपए 39390 रुपए और 7325 रुपए जिम्मेदारों ने सरकारी खजाने से सामुदायिक शौचालय की मरम्मत के नाम पर निकाल लिया है 6 महीने पहले 1 लाख 24 हजार 615 रुपए निकाल लिए जाने के बाद भी सामुदायिक शौचालय में टोटी और पानी की व्यवस्था नहीं हो सकी है जून महीने में सवा लाख रुपये खजाने से निकाल लिए जाने के 6 महीने बाद तक सामुदायिक शौचालय का उपयोग नहीं हो सका है अब इससे बड़ा क्या उदाहरण होगा कि जिले में विकास योजनाओं में लूट मची है लेकिन खंड विकास अधिकारी सिराथू से लेकर जिला पंचायत राज अधिकारी तक विकास योजनाओं में लूट करने वाले ग्राम प्रधान और पंचायत सचिव पर मुकदमा दर्ज कराकर रकम की रिकवरी नही कराई है घोटालेबाज प्रधान सचिव की गिरफ्तारी करने के लिए अधिकारी गंभीर नहीं दिखाई पड़ रहे हैं जिससे इन अधिकारियों के भी घोटाले में हिस्सेदारी से इनकार नहीं किया जा सकता है सम्पूर्ण प्रकरण की यदि जिला अधिकारी ने जांच कराई तो जहां ग्राम प्रधान और पंचायत सचिव पर मुकदमा दर्ज होगा उनकी गिरफ्तारी होगी वहीं पंचायत सचिव का निलंबन भी होगा इस ग्राम पंचायत के पंचायत सचिव घोटाले में निलंबित भी हो चुके हैं लेकिन घोटाला करने वाले ग्राम प्रधान को सिराथू ब्लॉक के अधिकारी लगातार बचाने के प्रयास कर रहे हैं आखिर भ्रष्टाचार में लिप्त प्रधान ब्लॉक के अधिकारियों तक क्या पहुंचा रहा है जिससे ब्लॉक के अधिकारी उसके गुनाहों को माफ कर देते हैं चर्चाओं पर जाए तो मंझनपुर चायल सिराथू अझुवा भरवारी की तमाम फर्जी फॉर्म में ग्राम पंचायत के लाखों की रकम भेज कर ग्राम प्रधान कमीशन वसूली में जुटा हुआ है
काशिया पश्चिम के जिस सामुदायिक शौचालय की बात कर रहे थे उसमें गंदगी फैली हुई है टंकी पानी और टोटी नहीं है महिलाओं बच्चों को सार्वजनिक स्थल पर मलमूत्र त्याग करने में शर्मसार होना पड़ रहा है एक तरफ अधिकारी जिले को शौच मुक्त घोषित कर चुके हैं दूसरी तरफ सामुदायिक शौचालय प्रयोग में नहीं है जिससे लोग खुले में मलमूत्र त्याग कर रहे हैं जिसके चलते खुले में शौच मुक्त घोषित करना बेमानी दिखाई पड़ रहा है प्रकरण पर जांच कराए जाने की जरूरत है और ग्राम प्रधान और पंचायत सचिव को निलंबित करते हुए इन पर मुकदमा दर्ज कराकर उनकी गिरफ्तारी कराए जाने की जरूरत है लेकिन योगी सरकार में क्या यह संभव है यह बड़ा सवाल खड़ा है।
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